क्या खास अक्षरधाम मंदिर

अक्षरधाम मंदिर भारत में मौजूद अन्य मंदिरों से काफी अलग है। ये मंदिर भगवान स्वामीनारायण को समर्पित है। यह एक आधुनिक हिंदू मंदिर है जो अपनी शानदार नक्काशी और आध्यात्मिक महत्व के लिए जाना जाता है। मंदिर की संरचना मुख्य रूप से गुलाबी बलुआ पत्थर और इतालवी संगमरमर से की गई है, जिसके कारण मंदिर हर अपनी सुंदरता के कारण हर किसी को अपनी ओर आकर्षित करता है।
आप आ रहे हैं, तो देखना न भूलें लाइट एंड साउंड शो

अक्षरधाम मंदिर में शाम को लाइट एंड साउंड शो का आयोजन किया जाता है, जो बेहद ही शानदार होता है। इस दौरान मंदिर के के बारे में विस्तार से बताया जाता है। जिन लोगों को नहीं पता, उन्हें बता दें, लाइट एंड साउंड शो का आयोजन सूर्यास्त के बाद ही होता है। ये शो शाम 6 बजे शुरू होता है और लगभग 1 घंटे तक चलता है। अगर आप दिल्ली में एक अच्छी शाम बिताना चाहते हैं, तो यहां आ सकते हैं।
अक्षरधाम मंदिर में नहीं एंट्री फीस, एक्सप्लोर करें ये जगहें
अक्षरधाम मंदिर हर सोमवार को बंद रहता है, बता दें, मंदिर में में एंट्री फ्री है, लेकिन यहां होने वाले एग्जीबिशन के लिए 250 रुपए देने होंगे। इसी के साथ आप मंदिर के सुंदर बगीचे को एक्सप्लोर कर सकते हैं, जिसके लिए कोई टिकट नहीं लेनी होगी। इसी के साथ मंदिर में घूमने के लिए कई खूबसूरत जगहें हैं।
यहां आप यज्ञपुरुष कुंड को एक्सप्लोर कर सकते हैं, जो एक विशाल सीढ़ीदार कुआं है, जिसे दुनिया का सबसे बड़ा सीढ़ीदार कुआं माना गया है। मंदिर परिसर में सुंदर गार्डन भी हैं, जैसे कि लोटस गार्डन, जो कमल के आकार का है।
मंदिर में देखें 'फाउंटेन शो'

अक्षरधाम मंदिर के परिसर में 'फाउंटेन शो' का आयोजन किया जाता है, जिसे 'आनंद वाटर शो' के नाम से भी जाना जाता है। इस शो का आयोजन भी दिल ढलने के बाद किया जाता है. लेटेस्ट जानकारी के अनुसार,वर्तमान में शो शाम 6:15 बजे शुरू होता है, जो लगभग 15 मिनट तक ही होता है। बता दें, शो को देखने के लिए टिकट भी लेनी होगी। जिसमें वयस्कों को 100 रुपए, बच्चों के लिए 50 रुपए(12 साल तक) और 4 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए एंट्री फ्री है।
लगभग 11,000 कारीगरों ने किया था मंदिर का निर्माण
दिल्ली में स्थित अक्षरधाम मंदिर को, 100 एकड़ जमीन बनाया गया है। दिल्ली स्थित दुनिया की तीसरा सबसे बड़ा स्वामीनारायण अक्षरधाम मंदिर है, जिसके निर्माण में लगभग पांच साल का समय लगा था। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मंदिर का निर्माण लगभग 11,000 कारीगर और हजारों स्वयंसेवकों द्वारा किया गया था। इस मंदिर का उद्घाटन 6 नवंबर, 2005 को किया गया था। तब से लेकर आज तक मंदिर को देखने के लिए लाखों टूरिस्ट्स हर साल आते हैं।
1000 सालों तक टिका रहेगा मंदिर

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मंदिर को इस प्रकार डिजाइन किया गया है कि आने वाले 1000 सालों तक मंदिर जैसा है, वैसा ही खड़ा रहेगा। मंदिर को बनाने के लिए कई तकनीक का इस्तेमाल किया गया है, जो इसकी नींव को मजबूत बनाती है। बता दें, मंदिर 350 फीट लंबा, 315 फीट चौड़ा और 141 फीट ऊंचा है। मंदिर में 234 खूबसूरती से सजाए गए और नक्काशीदार खंभे और 9 खूबसूरती से नक्काशीदार गुंबद हैं। अक्षरधाम मंदिर में दो मंजिला इमारत और खूबसूरत 1152 स्तंभ भी हैं।
कैसे पहुंचे अक्षरधाम मंदिर
ट्रेन से: अगर आप ट्रेन से आ रहे हैं, तो बता दें, दिल्ली रेलवे स्टेशन, नई दिल्ली रेलवे स्टेशन, आनंद विहार रेलवे स्टेशन नजदीक है। जहां से आप मेट्रो या ऑटो, टैक्सी के जरिए अक्षरधाम मंदिर पहुंच सकते हैं। मंदिर का पता नोएडा मोड़, दिल्ली है। यह मंदिर यमुना नदी के किनारे, दिल्ली में स्थित है।फ्लाइट से: अगर आप फ्लाइट से आ रहे हैं, तो इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट मंदिर से लगभग 22.2 किलोमीटर की दूरी पर है। यहां से टैक्सी या मेट्रो के जरिए डायरेक्ट अक्षरधाम मंदिर आ सकते हैं। मेट्रो से - अक्षरधाम मेट्रो स्टेशन सबसे नजदीक है, जो ब्लू लाइन पर है। मेट्रो स्टेशन से मंदिर सिर्फ 350 मीटर की दूरी पर स्थित है। आप मेट्रो से उतरकर पैदल मंदिर तक जा सकते हैं।
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