शिमला, 20 अक्टूबर (Udaipur Kiran News) . दीपावली के अवसर पर राजधानी शिमला का पटाखा बाजार रोशनी और रंगों से सज गया है. शहर के आईएस स्केटिंग रिंक सहित अन्य चिन्हित स्थानों में लगाए गए अस्थायी स्टॉलों पर लोग उत्साह के साथ पटाखों की खरीददारी कर रहे हैं. इस बार लोग प्रदूषण रहित ग्रीन पटाखों को अधिक तवज्जो दे रहे हैं.
पटाखा विक्रेताओं का कहना है कि बाजार में ग्रीन पटाखों के साथ प्रदूषण वाले पटाखे भी उपलब्ध हैं. इनमें सतरंगी रोशनी, फैंसी अनार, फ्लावर पाट चक्री, गोल्डन मिलो रॉकेट, म्यूजिकल चक्री, मल्टीकलर स्काई शूट, और डिस्को शावर अनार जैसी कई किस्में शामिल हैं. इनकी कीमतें 10 रुपये से लेकर 2000 रुपये तक हैं. हालांकि, पटाखों की कीमतों में इस बार महंगाई का असर साफ दिख रहा है और बिक्री पिछले वर्ष की तुलना में कुछ कम बताई जा रही है.
उपायुक्त शिमला अनुपम कश्यप ने दिवाली के दौरान पटाखे चलाने और उपयोग करने का समय रात 8 बजे से 10 बजे तक तय किया है. उन्होंने स्पष्ट किया कि इस अवधि में केवल ‘ग्रीन पटाखे’ ही चलाने की अनुमति होगी. उन्होंने बताया कि जहां वायु गुणवत्ता मध्यम या उससे नीचे है, वहां केवल पर्यावरण-अनुकूल ग्रीन पटाखों की बिक्री की जा सकेगी.
डीसी ने कहा कि दिवाली, छठ, नववर्ष और क्रिसमस की पूर्व संध्या पर पटाखे चलाने का समय दो घंटे तक सीमित रहेगा. यह निर्णय सर्वोच्च न्यायालय के वर्ष 2019 के निर्देशों के अनुरूप है. आदेशों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम, 1986 की धारा 15 तथा बीएनएस 2023 की धारा 223 के तहत कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
इन आदेशों का पालन सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी Superintendent of Police शिमला और सभी उपमंडल दंडाधिकारियों को सौंपी गई है. प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे पर्यावरण का ध्यान रखते हुए केवल ग्रीन पटाखों से ही दिवाली मनाएं, ताकि पर्व की खुशियां धुएं और प्रदूषण से प्रभावित न हों.
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(Udaipur Kiran) / उज्जवल शर्मा
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